🌾 किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) योजना
📌 योजना का उद्देश्य
KCC योजना का मुख्य उद्देश्य:
किसानों को बीज, खाद, कीटनाशक, डीज़ल जैसे कृषि खर्चों के लिए आसान ऋण
साहूकारों पर निर्भरता कम करना
किसानों को लचीली और समय पर क्रेडिट सुविधा देना
🏛️ योजना की शुरुआत
शुरुआत: 1998
शुरू की गई: भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) और NABARD के सहयोग से
💳 KCC के तहत क्या सुविधाएँ मिलती हैं?
किसान को एक क्रेडिट कार्ड / पासबुक दी जाती है
आवश्यकता अनुसार पैसे निकालने और जमा करने की सुविधा
फसल चक्र के अनुसार क्रेडिट लिमिट तय होती है
ATM / RuPay Kisan Card की सुविधा
💰 ऋण सीमा और ब्याज दर
ऋण सीमा: भूमि, फसल और खेती की आवश्यकता पर निर्भर
₹3 लाख तक के फसल ऋण पर 7% ब्याज
समय पर भुगतान करने पर
3% ब्याज छूट
अतिरिक्त 2% प्रोत्साहन
👉 प्रभावी ब्याज दर लगभग 4% रह जाती है
👨🌾 पात्रता (Eligibility)
KCC का लाभ ले सकते हैं:
व्यक्तिगत किसान (मालिक किसान)
किरायेदार किसान / बटाईदार
स्वयं सहायता समूह (SHG)
संयुक्त देयता समूह (JLG)
पशुपालक, मछुआरे (डेयरी, फिशरी KCC)
🐄 पशुपालन और मछली पालन के लिए KCC
अब KCC केवल खेती तक सीमित नहीं है:
डेयरी किसानों के लिए
पशुपालकों के लिए
मछली पालन करने वालों के लिए भी KCC उपलब्ध
📑 आवश्यक दस्तावेज़
आधार कार्ड
भूमि रिकॉर्ड / लीज़ एग्रीमेंट
पासपोर्ट साइज फोटो
बैंक खाता
फसल विवरण
📝 आवेदन कैसे करें?
आप KCC के लिए इन तरीकों से आवेदन कर सकते हैं:
1️⃣ बैंक के माध्यम से
नजदीकी बैंक शाखा (PSU/Private/Cooperative/RRB) जाएँ
KCC आवेदन फॉर्म भरें
दस्तावेज़ जमा करें
2️⃣ ऑनलाइन माध्यम से
pmkisan.gov.in पर जाकर KCC आवेदन
या संबंधित बैंक की वेबसाइट से
🔄 KCC की वैधता
KCC आमतौर पर 5 वर्ष तक वैध होता है
हर वर्ष क्रेडिट लिमिट का नवीनीकरण होता है
🌟 KCC योजना के फायदे
✔️ कम ब्याज पर ऋण
✔️ सरल प्रक्रिया
✔️ समय पर खेती के लिए धन उपलब्ध
✔️ डिजिटल लेन-देन की सुविधा
Thanks

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